एक ओर जहां देश और विदेश में मनमोहन सरकार को अंडर एचीवर बताया जा रहा है, वहीं नरेंद्र मोदी के शासन में गुजरात की आर्थिक तरक्की विदेश में भी चर्चा का विषय बन गई है।
रिपोर्ट के मुताबिक लंदन के औद्योगिक हिस्से सिटी ऑफ लंदन की ओर से कराए गए अध्ययन में भारत के गुजरात राज्य को 'आश्चर्यजनक' करार दिया गया है।
रिपोर्ट में गुजरात सरकार को वित्तीय रूप से विश्वसनीय बताते हुए कहा गया है कि सार्वजनिक-निजी भागीदारी [पीपीपी] की मदद से बनने वाली परियोजनाओं को लागू करने में उसका प्रदर्शन बेमिसाल है।
गौरतलब है लंदन शहर का हिस्सा सिटी ऑफ लंदन ब्रिटेन में वित्तीय सेवा उद्योग का केंद्र है, जिसकी ओर से भारत पर सेमीनार के दौरान एक समीक्षा रिपोर्ट पेश की गई।
इस रिपोर्ट में कहा गया कि गुजरात राज्य में पीपीपी परियोजनाओं के लिए मजबूत ढांचा है। गुजरात इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट एक्ट के रूप में ऐसी परियोजनाओं के अमल के लिए उसके पास व्यापक अधिकार हैं।
मालूम हो, सिटी ऑफ लंदन का मुंबई में ऑफिस है, जो भारत और ब्रिटेन के बीच व्यापार और निवेश को लेकर अहम कड़ी के तौर पर काम करता है।
रिपोर्ट के मुताबिक, वित्तीय निवेश के मामले में गुजरात मजबूत स्थिति में है। वह भारत में शीर्ष निवेश गंतव्य के रूप में उभरा है, जहां विश्वसनीय राज्य सरकार के कारण गुजरात में भुगतान का जोखिम नहीं है।
उनके मुताबिक पीपीपी परियोजनाओं को देख रहे गुजरात इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट बोर्ड के पास अपेक्षाकृत बेहतर तकनीकी और आकलन क्षमता है। वहीं, बोर्ड के कामकाज का तरीका भी काफी निष्पक्ष और पारदर्शी है।
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