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शनिवार, 1 दिसंबर 2012

"आप" का समर्थन करने का कारण...

मैं सिर्फ 19 वर्ष का एक युवा हूँ मेने अब तक सिर्फ एक बार वोट दिया है, चुनाव आते ही मैं बड़ा परेशान हो गयाथा की अब मैं वोट दूँ किसे?
देश की राजनीती में तो सारे दल ही एक जैसे है, क्या कांग्रेस, क्या बीजेपी और क्या सपा-बसपा!
फिर भी मुझे मजबूरी में किसी एक पार्टी को वोट देकर आना पडा था क्युकी मैं एक जागरूक नागरिक हूँ और चुनाव में वोट डालना हर जागरूक नागरिक का कर्तवय समझता हूँ ..
पूछो मत मजबूरी में एक
 भ्रष्ट पार्टी के बदले दूसरी भ्रष्ट पार्टी को वोट देने से उतनी ही पीड़ा होती थी जितनी अपने पहले प्रेम को जबरदस्ती भूलने पर हुई थी..

अब मैं बड़ा खुश हूँ अरविन्द भाई ने हमसे वादा किया है की वो इमानदार प्रत्याशियों को ही चनाव लडवाएंगे, चुनाव का प्रत्याशी क्षेत्र की जनता खुद तय करेगी! अगर फिर भी कोई आम आदमी पार्टी का नेता भ्रष्टाचारी निकल गया तो उसको वापस बुलाने के लिए राईट टू रिकाल की सुविधा भी देश के नागरिको को दी जायेगी...

अब भी भला अगर में "आम आदमी पार्टी" का समर्थन ना करू तो फिर मैं आम आदमी नही क्या मुझे भ्रस्ताचार मुक्त भारत नही चाहिए?
क्या मुझे भ्रष्ट सांसदों को वापस बुलाने के लिए राईट टू रिकाल नही चाहिए?
अगर कोई कहे की हम अरविन्द भाई के द्वारा राजनीती में किये जा रहे बदलाव से, उनकी इन सभी बातो से सहमत नही है तो यकीन मानिए वो किसी नेता के चमचे ही है, "आम आदमी" नही!

पर आप तो आम आदमी है ना बोलो करोगे "आप" का समर्थन?

या करोगे दोनों में से किसी एक पाप का समर्थन?

वोट "आप"का भविष्य "आप"का!
अब फैसला भी "आप"का

आर्यन कोठियाल{ एक आम आदमी}

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